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25 सितंबर 2009

सूखे से श्रीलंका में चाय का उत्पादन गिरने का अंदेशा

ब्लूमबर्ग कोलंबो. दुनिया के चौथे सबसे बड़े चाय उत्पादक देश श्रीलंका में सूखे की स्थिति होने के कारण चाय का उत्पादन गिरने की आशंका है। वहां वेतन के मुद्दे पर विवाद होने से भी उत्पादन पर असर पड़ सकता है। श्रीलंका चाय बोर्ड के चेयरमैन ललित हेतियाराच्ची के अनुसार इस साल चाय का उत्पादन 30 करोड़ किलोग्राम के लक्ष्य से कम सकता है। पिछले साल देश में 31.8 करोड़ किलो चाय का उत्पादन हुआ था। उन्होंने टेलीफोन पर बातचीत में बताया कि केन्या, श्रीलंका और भारत में सूखे के कारण चाय की विश्वव्यापी सुलभता मांग के मुकाबले 10 फीसदी कम रहने की संभावना है। दुनिया की सबसे बड़ी चाय उत्पादक कंपनी मेकलॉयल रुसेल इंडिया के अनुसार इन देशों में मौसम खराब होने से चाय के भाव रिकार्ड स्तर पर पहुंच सकते हैं। श्रीलंका में उत्पादकों की चाय का उत्पादन खर्च बढ़ सकता है। वहां कर्मचारियों ने वेतन बढ़ोतरी की मांग को लेकर सप्लाई रोक दी है। वेतन बढ़ने पर लागत बढ़ेगी।कोलंबो में प्लांटर्स एसोसिएशन के महासचिव मालिन गूनेतिलेके ने बताया कि चाय के दाम अनपेक्षित स्तर पर पहुच रहे हैं। चाय के मूल्य में बढ़ोतरी पिछले कुछ महीनों से हो रही है। श्रीलंका में वेतन मुद्दे को लेकर कर्मचारियों ने इस महीने में दो सप्ताह तक कोलंबो नीलामी केंद्र तक चाय की सप्लाई नहीं होने दी। इससे श्रीलंका में चाय के दाम 405 श्रीलंकाई रुपये (3.5 डॉलर) प्रति किलो तक पहुंच चुके हैं। इसमें करीब 40 फीसदी की बढ़त हुई है। वेतन बढ़ने से उद्योग पर 600 करोड़ श्रीलंकाई रुपये का अतिरिक्त भार पड़ेगा। बोर्ड के अनुसार दूसरी तिमाही में नीलामी केंद्र पर चाय का औसत भाव करीब 18 फीसदी बढ़ गए। 8 सितंबर को 52 लाख किलो चाय की नीलामी 445.72 श्रीलंकाई रुपये प्रति किलो के भाव पर हुई। अगस्त में भाव 419.25 रुपये प्रति किलो था। मेकलियॉड रुसेल के अनुसार केन्या और भारत में चाय के रिकार्ड भाव चल रहे हैं। इसमें अगले साल तक 15 फीसदी की और बढ़ोतरी हो सकती है। उधर हेतियाराच्ची के अनुसार श्रीलंका ब्लैक टी का दूसरी सबसे बड़ा सप्लायर है। यहां से चाय का निर्यात एक अरब डॉलर से ऊपर निकल पाना मुश्किल है क्योंकि उत्पादन में कमी आई है। पिछले साल 1.27 अरब डॉलर की चाय का निर्यात हुआ था। उनका कहना था कि उत्पादन बढ़े बगैर राजस्व बढ़ने की संभावना बहुत कम है। इस साल की पहली छमाही में चाय निर्यात 13.9 करोड़ किलो रहा जबकि पिछले साल इस दौरान 15.6 करोड़ किलो चाय का निर्यात हुआ था। अगस्त तक आठ माह में चाय का उत्पादन 19 फीसदी घटकर 18.2 करोड़ किलो रहा। (बिज़नस भास्कर)

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