कुल पेज दृश्य

16 सितंबर 2010

ओएमएसएस में बढ़ सकता है गेहूं का आवंटन

सरकार खुले बाजार बिक्री योजना (ओएमएसएस) के लिए गेहूं आवंटन की मात्रा के साथ-साथ इसकी अवधि बढ़ाए जाने की संभावना है। ओएमएसएस के तहत गेहूं आवंटन का समय एक साल बढ़ सकता है। दलहन पर लगी स्टॉक लिमिट भी अगले एक साल तक बढ़ाये जाने के आसार हैं। गुरुवार को केंद्रीय वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की अध्यक्षता में खाद्यान्न मामलों पर गठित अधिकार प्राप्त मंत्री समूह (ईजीओएम) की बैठक में इन मुद्दों पर चर्चा होगी। इसमें खाद्यान्न के सेंट्रल इश्यू प्राइस (सीआईपी) पर भी विचार हो सकता है। ओएमएसएस के तहत पहले से आवंटित गेहूं का अभी पूरा उठाव नहीं हो पाया है लेकिन ईजीओएम में इसका आवंटन बढ़ाये जाने की संभावना है। ओएमएसएस के तहत 21.81 लाख टन गेहूं का आवंटन (अक्टूबर-09 से सितंबर-10 ) के लिए किया गया था। इसमें से अभी करीब आठ लाख टन गेहूं का उठाव नहीं हो पाया है। खाद्य मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार सरकार इसमें अतिरिक्त आवंटन तो करेगी ही, साथ ही इसकी समय अवीध को भी अगले एक साल के लिए बढ़ाये जाने की संभावना है। खुले बाजार के मुकाबले सरकारी गेहूं महंगा होने के कारण ही मिलें सीमित मात्रा में उठाव कर रही हैं। पिछले तीन-चार महीनों में तो उठाव नाममात्र का हुआ है। दिल्ली में ओएमएसएस के गेहूं का बिक्री भाव 1,252.15 रुपये प्रति क्विंटल है जबकि खुले बाजार में यह 1,230-1,235 रुपये के भाव बिक रहा है। केंद्रीय पूल में पहली सितंबर को गेहूं का 298.62 लाख टन का स्टॉक बचा था। सरकार को खरीफ में अनुकूल मौसम और बुवाई रकबा बढऩे से दलहन की पैदावार में बढ़ोतरी होने का अनुमान है। लेकिन फुटकर में दालों की ऊंची कीमतों को देखते हुए दालों पर लगी स्टॉक लिमिट की अवधि को भी ईजीओएम की बैठक में बढ़ाये जाने की संभावना है। दालों पर स्टॉक लिमिट की अवधि 30 सितंबर को समाप्त हो रही है। लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (टीपीडीएस) के तहत आवंटित खाद्यान्न की कीमतों पर भी इस बैठक में चर्चा होगी। लेकिन महंगाई को देखते हुए इनके दाम बढऩे के आसार नहीं हैं। सार्वजनिक वितरण प्रणाली के तहत आवंटित खाद्यान्न की कीमतों में वर्ष 2002 के बाद से कोई फेरबदल नहीं किया गया है। इस समय गरीबी रेखा से नीचे (बीपीएल) परिवारों को 415 रुपये प्रति क्विंटल की दर से गेहूं और 565 रुपये प्रति क्विंटल की दर से चावल का आवंटन किया जाता है। इसी तरह गरीबी रेखा से ऊपर (एपीएल) परिवारों को 610 रुपये प्रति क्विंटल की दर से गेहूं और 830 रुपये प्रति क्विंटल की दर से चावल उपलब्ध कराया जाता है। इसके अलावा अन्त्योदय योजना के तहत 2 रुपये प्रति किलो की दर से गेहूं और 3 रुपये प्रति किलो की दर से चावल दिया जाता है। (Business Bhaskar....aar as raana)

कोई टिप्पणी नहीं: