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07 दिसंबर 2012

अफ्रीकी देशों को एग्री उत्पादों का निर्यात बढ़ाएगी एलटी फूड्स

आर एस राणा नई दिल्ली | Dec 07, 2012 खुलासा - सेनेगल, केन्या, मोजाम्बिक, घाना और नाइजीरिया सहित अन्य अफ्रीकन देशों में एग्री उत्पादों के निर्यात की काफी संभावनाएं हैं। इसीलिए कंपनी इन देशों में एग्री उत्पादों खासकर के गैर-बासमती चावल, मक्का और सोयाखली के निर्यात पर जोर देगी। इन देशों में कंपनी जिंसों के उत्पादन और एग्री उत्पादों के मल्टी प्रोडक्ट बनाने की भी योजना है। - एस. वेंकटेश, इंटरनेशनल ट्रेड हैड,एलटी फूड्स लिमिटेड एलटी फूड्स लिमिटेड अफ्रीकन देशों में एग्री उत्पादों बासमती और गैर-बासमती चावल के साथ ही मक्का और सोयाखली के निर्यात को बढ़ायेगी। इसके लिए कंपनी इन देशों की सरकारों के साथ बात कर रही है साथ में प्राइवेट भागीदारों के साथ भी समझौता करने की योजना है। चालू वित्त वर्ष 2012-13 में बासमती चावल को छोड़ अन्य एग्री उत्पादों का निर्यात बढ़कर 600 से 700 करोड़ रुपये का होने का अनुमान है। एलटी फूड्स लिमिटेड के इंटरनेशनल ट्रेड हैड एस. वेंकटेश ने बिजनेस भास्कर को बताया कि सेनेगल, केन्या, मोजाम्बिक, घाना और नाइजीरिया सहित अन्य अफ्रीकन देशों में एग्री उत्पादों के निर्यात की काफी संभावनाएं हैं। इसीलिए कंपनी इन देशों में एग्री उत्पादों खासकर के गैर-बासमती चावल, मक्का और सोयाखली के निर्यात पर जोर देगी। इन देशों में कंपनी जिंसों के उत्पादन और एग्री उत्पादों के मल्टी प्रोडक्ट बनाने की भी योजना है। कई अफ्रीकन देशों की सरकारों के साथ ही प्राइवेट भागीदारों से भी कंपनी की बातचीत चल रही है। उन्होंने बताया कि एलटी फूड्स एग्री उत्पादों के निर्यात के साथ ही पैकेजिंग, आर्गेनिक फूड्स, खाद्यान्न के भंडारण और हेल्दी स्नैक्स का उत्पादन भी करती है। कंपनी करीब 50 देशों को एग्री उत्पादों का निर्यात कर रही है। वित्त वर्ष 2012-13 में बासमती चावल को छोड़ अन्य एग्री उत्पादों गैर-बासमती चावल, मक्का और सोयाखली का निर्यात बढ़कर 600 से 700 करोड़ रुपये का होने का अनुमान है जबकि वित्त वर्ष 2011-12 में 250-300 करोड़ रुपये का निर्यात हुआ था। उन्होंने कहा कि एग्री उत्पादों के निर्यात के लिए सरकार को लंबी अवधि की नीति बनानी चाहिए। उन्होंने बताया कि बासमती चावल के साथ ही गैर-बासमती चावल का निर्यात अच्छा हो रहा है तथा चालू वित्त वर्ष में बासमती चावल का निर्यात पिछले साल के 32 लाख टन से बढऩे की संभावना है। जबकि सितंबर 2011 से अभी तक गैर-बासमती चावल का रिकार्ड मात्रा में निर्यात हो चुका है। कंपनी ने हाल ही में ईरान को निर्यात के लिए 30,000 टन बासमती चावल की निविदा भरी है। दक्षिण पूर्वी एशियाई देशों को मक्का के निर्यात की काफी अच्छी संभावना है तथा कंपनी ने 80 हजार टन मक्का के निर्यात सौदे भी किए हैं। कंपनी की रॉ चावल की 1,000 टन और पारबाइल्ड चावल की 750 टन की दैनिक प्रोसेसिंग क्षमता है। इसके अलावा आर्गेनिक चावल की 150 टन की दैनिक प्रोसेसिंग की क्षमता भी है। (Business Bhaskar.....R S Rana)

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