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10 जून 2013

भारत में चीनी का उत्पादन 8 फीसदी घटकर 232 लाख टन संभव : यूएसडीए

पूर्वानुमान उत्पादन में कमी से चीनी हो सकती है महंगी चीनी के मुकाबले गुड़ के दाम रहेंगे ज्यादा भारत चीनी के मामले में आयातक देश बनेगा महाराष्ट्र में उत्पादन घटेगा जबकि यूपी में बढ़ेगा पिछले मार्केटिंग सीजन 2012-13 में चीनी उत्पादन में कमी आने के बाद अब अगले सीजन वर्ष 2013-14 में भी चीनी उत्पादन घटने का अनुमान है। अमेरिकी कृषि विभाग (यूएसडीए) ने भारत में चीनी का उत्पादन आठ फीसदी गिरकर 232 लाख टन रहने का अनुमान है। अमेरिकी कृषि विभाग के अनुसार अक्टूबर से शुरू हो रहे मार्केटिंग वर्ष में गन्ने का उत्पादन गिरने से देश का चीनी उत्पादन आठ फीसदी तक कम हो सकता है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2012-13 में 252 लाख टन चीनी का उत्पादन हुआ था। विभाग के अनुसार घरेलू मांग को देखते हुए भारत नए सीजन में चीनी आयातक देश बन सकता है। यहां प्रति वर्ष करीब 220 टन चीनी की खपत होती है। इसमें भी इजाफा हो सकता है क्योंकि देश में चीनी की मांग काफी मजबूत है। देश में गन्ना उत्पादन प्रभावित होने से चीनी का उत्पादन कम रह सकता है। इसके अलावा गुड़ कोल्हू संचालकों की खरीद से भी चीनी मिलों के लिए गन्ने की कमी हो सकती है। इससे भी चीनी के उत्पादन पर असर पड़ सकता है। यूएसडीए के अनुसार वर्ष 2013-14 में चीनी के भाव में भी तेजी की संभावना है। इस दौरान गुड़ के भाव चीनी से भी तेज रहने की संभावना है। अमेरिकी कृषि विभाग के अनुसार वर्ष 2013-14 में महाराष्ट्र में चीनी उत्पादन 26 फीसदी गिरकर 79.1 लाख टन रहने का अनुमान है। जबकि विगत वर्ष 58.7 लाख टन उत्पादन हुआ था। कर्नाटक का चीनी उत्पादन 31.2 लाख टन की तुलना में गिरकर 26.9 लाख टन रह गया। लेकिन उत्तर प्रदेश में चीनी उत्पादन 77.2 लाख टन से बढ़कर 84 लाख टन हो सकता है। विभाग का कहना है कि सरकार द्वारा चीनी उत्पादन को नियंत्रण मुक्त करने से मिलें समय पर किसानों को उनके गन्ने का भुगतान करने में सक्षम होंगी। भारत विश्व में दूसरा सबसे बड़ा चीनी उत्पादक व उपभोक्ता देश है। (Business Bhaskar)

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